भाइयो और बहनों एवं प्य्रे दोस्तों , रक्षा - बंधन और स्वतंत्रता - दिवस की हार्दिक बधाई स्वीकार करें ! त्यौहार है इसलिए बधाई तो देनी ही पड़ेगी , लेकिन हालात नहीं है देश के बधाई देने वाले | सोना ,चांदी,हीरे ,मोती,पीतल ,ताम्बा,लोहा,कांच को तो छोड़ो , बाज़ार दाल सब्जी और फल लेने जाना पड़े तो " नानी याद आ जाती है" | इन अफसरों , मंत्रियों और बाबुओं की तनख्वाह इतनी है की इन्हें तो १००/- रूपये कुछ भी नहीं लगते | मध्यम निम्न दर्जे का आदमी जाए तो कंहा जाए | न तो वो बी.पी.एल. बन सकता और न वो अमीर बन सकता | दो पाटन में पिसना ही उसकी किस्मत है | नेता लोग इंग्लिश में आंकड़े सुनाकर जनता को बरगला रहे हैं | पत्रकार बहस कराके अपना पल्ला झाड रहे हैं | विपक्ष शोर मचा रहा है | सोनिया जी राम जाने कैसी बीमारी से जूझ रही हैं,वो परिवार सहित विदेश चली गयी हैं | भगवान उन्हें जल्दी ठीक करे , वैसे " डर " भी एक बीमारी होती है | मंत्री अकड़े पड़े हैं | ऐसे में मुझे भी ये डर सता रहा है कि कंही हमारा देश फिरसे गुलाम न हो जाए ? क्योंकि सरकार की नीतियाँ ही ऐसी हैं | बाबू काबू में नहीं | मुझे तो एक पुराना गाना याद आ रहा है ..." राम चन्द्र कह गए सिया से , ऐसा कलयुग आएगा ...... हंस चुगेगा दाना तिनका कौआ मोती कहेगा ..... हो जी रे .....| तो रक्षा बंधन ही स्वतंत्रता दिवस की रक्षा करे तो करे | या फिर " रक्षा करे तेरी सिया राम ...सियाराम ...!
FIGHT ANY TYPE OF CORRUPTION, WITH "PEN"!
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
"निराशा से आशा की ओर चल अब मन " ! पीताम्बर दत्त शर्मा (लेखक-विश्लेषक)
प्रिय पाठक मित्रो ! सादर प्यार भरा नमस्कार !! ये 2020 का साल हमारे लिए बड़ा ही निराशाजनक और कष्टदायक साबित ह...
-
मेरे प्रिय " हंस - हंस्नियो मित्रो , धवल - शुद्ध नमस्कार !!! दलीप कुमार साहिब की एक फिल्म थी ,जिसमे हिन्दू...
-
" झीनी चादर " अपने जीवन में ओढने वाले सभी मित्रों को मेरा सादर नमस्कार !! कबीर जी कहते हैं ,जब हम पैदा हुए ,...
-
भारतीय संस्कृति के अनुसार , जब से ये सृष्टि रची गयी है ,लगभग तभी से धर्म के नाम पर तथाकथित धर्म चलाने वालों द्वारा ही अपराध किये या करवाये ...
No comments:
Post a Comment